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Monday, May 7, 2018

विजयनगर साम्राज्य के बारे में रोचक जानकारी ।

                       

                   विजयनगर साम्राज्य

राजधानी--  :     विजयनगर (वर्तमान हंपी) 
भाषा--        :     तेलुगू, संस्कृत, कन्नड 
धर्म--          :      हिन्दू धर्म 
मुद्रा--         :      पेगोडा 
शासन--      :     राजतंत्र 
राजा--        :     हरिहर-I (प्रथम) 
                        श्रीरंगा-III (अंतिम) 
स्थापना--    :    1336 ई0
अंत--          :    1646 ई0


  • विजयनगर साम्राज्य की स्थापना 1336 ई0 में हरिहर और बुक्का नामक दो भाइयों ने  की थी । विजयनगर का शाब्दिक अर्थ होता है -  जीत का शहर 
  • हरिहर और बुक्का पहले काकतीय शासक प्रताप रुद्रदेव के सेवक थे । 
  • हरिहर और बुक्का ने विजयनगर साम्राज्य की स्थापना विद्यारणय संत से आशिर्वाद प्राप्त कर की थी । 
  • हरिहर और बुक्का ने अपने पिता संगम के नाम पर संगम राजवंश की स्थापना  की ।
  • विजयनगर साम्राज्य पर क्रमश: राजवंश ने शासन किया -- संगम, सलुब, तुलुब, एवं अरावीडु वंश । 
  • विजयनगर साम्राज्य की राजधानी हम्पी थी । इसकी राजभाषा तेलुगू थी । इस साम्राज्य के खण्डहर आज तुंगभद्रा नदी पर  स्थित है ।
  • हरिहर- II ने संगम शासकों में सबसे पहले महाराजाधिराज की उपाधि धारण की ।
  •  सगंम शासक देवराय प्रथम के शासनकाल में इटली का यात्री निकोलो कांटी विजयनगर की यात्रा पर आया था ।
  • संगम वंश का सबसे प्रतापी राजा देवराय II था। इसे इमाडिदेवराय भी कहा जाता था ।
  • देवराय- II के शासनकाल में फारसी राजदूत अब्दुल रज्जाक विजयनगर आया था ।
  • प्रसिद्ध तेलुगू कवि श्रीनाथ कुछ दिन तक देवराय-II के दरबार में रहे ।
  • सालुव नरसिंह ने विजयनगर में दूसरे राजवंश सालुव वंश  (1485-1506) की स्थापना की ।
➤ संगम वंश के प्रमुख शासक

       शासक                        वर्ष 
➢ हरिहर                  1336-1356 ई0
➢ बुक्का                  1356-1377 ई0
➢ हरिहर-II              1377-1404 ई0
➢ देवराय                 1406-1422 ई0
➢ देवराय- II            1426-1446 ई0
➢ मल्लिकार्जुन          1446-1466 ई0
➢ विरूपाझ-II          1466-1485 ई0

  • वीर नरसिंह ने तुलुव वंश (1505-1565) की स्थापना की ।
  • तुलुव वंश का महान शासक कृष्णदेव राय था। वह 8 अगस्त, 1509 को शासक बना।
  • कृष्णदेव राय का योग्यमंत्री एंव सेनापति सालुव तिमा था।
  • कृष्णदेवराय के शासनकाल में पुर्तगाल यात्री डोमिगोस पायस विजयनगर आया था।
  • बाबर ने अपनी आत्मकथा 'बाबरनामा' में कृष्णदेवराय को भारत का सर्वाधिक शक्तिशाली शासक बताया।
  • कृष्णदेवराय के शासनकाल को तेलुगु साहित्य का 'क्लासिक युग' कहा गया है।
  • कृष्णदेवराय ने नागलपुर नामक नए नगर , हमारा एवं विट्ठलस्वामी मंदिर का निर्माण करवाया था।
  • कृष्णदेवराय ने आन्ध्रभोज, अभिनव भोज, आन्ध्र पितामह आदि उपाधि धारण की थी।
  • कृष्णदेव राय की म्रत्यु 1529 ई0 में हो गयी।
  • तुलुव वंश का अंतिम शासक सदाशिव था।
  • तालिकोटा का युद्ध 25 जनवरी,1565 ई0 में हुआ । इसी युद्ध के कारण विजयनगर का पतन हुआ।
  • तालिकोटा युद्ध में विजयनगर का नेतृत्व राम राय कर रहा था।

  • तालिकोटा के युद्ध के बाद सदाशिव ने तिरुमल के सहयोग से पेनूकोंडा को राजधानी बनाकर शासन प्रारंभ किया।
  • विजयनगर के चौथे राजवंश अरावीडु वंश (1570-1650 ई0) की स्थापना  तिरुमल ने सदाशिव को अपदस्थ कर पेनूकोंडा में किया।
  • अरावीडु शासक वेंकट-II के शासनकाल में ही वोडेयार ने 1612 ई0 में मैसूर राज्य की स्थापना की थी।
  • अरावीडु वंश का अंतिम शासक रंग-III था।

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