विजयनगर साम्राज्य
राजधानी-- : विजयनगर (वर्तमान हंपी)
भाषा-- : तेलुगू, संस्कृत, कन्नड
धर्म-- : हिन्दू धर्म
मुद्रा-- : पेगोडा
शासन-- : राजतंत्र
राजा-- : हरिहर-I (प्रथम)
श्रीरंगा-III (अंतिम)
स्थापना-- : 1336 ई0
अंत-- : 1646 ई0
- विजयनगर साम्राज्य की स्थापना 1336 ई0 में हरिहर और बुक्का नामक दो भाइयों ने की थी । विजयनगर का शाब्दिक अर्थ होता है - जीत का शहर
- हरिहर और बुक्का पहले काकतीय शासक प्रताप रुद्रदेव के सेवक थे ।
- हरिहर और बुक्का ने विजयनगर साम्राज्य की स्थापना विद्यारणय संत से आशिर्वाद प्राप्त कर की थी ।
- हरिहर और बुक्का ने अपने पिता संगम के नाम पर संगम राजवंश की स्थापना की ।
- विजयनगर साम्राज्य पर क्रमश: राजवंश ने शासन किया -- संगम, सलुब, तुलुब, एवं अरावीडु वंश ।
- विजयनगर साम्राज्य की राजधानी हम्पी थी । इसकी राजभाषा तेलुगू थी । इस साम्राज्य के खण्डहर आज तुंगभद्रा नदी पर स्थित है ।
- हरिहर- II ने संगम शासकों में सबसे पहले महाराजाधिराज की उपाधि धारण की ।
- सगंम शासक देवराय प्रथम के शासनकाल में इटली का यात्री निकोलो कांटी विजयनगर की यात्रा पर आया था ।
- संगम वंश का सबसे प्रतापी राजा देवराय II था। इसे इमाडिदेवराय भी कहा जाता था ।
- देवराय- II के शासनकाल में फारसी राजदूत अब्दुल रज्जाक विजयनगर आया था ।
- प्रसिद्ध तेलुगू कवि श्रीनाथ कुछ दिन तक देवराय-II के दरबार में रहे ।
- सालुव नरसिंह ने विजयनगर में दूसरे राजवंश सालुव वंश (1485-1506) की स्थापना की ।
शासक वर्ष
➢ हरिहर 1336-1356 ई0
➢ बुक्का 1356-1377 ई0
➢ हरिहर-II 1377-1404 ई0
➢ देवराय 1406-1422 ई0
➢ देवराय- II 1426-1446 ई0
➢ मल्लिकार्जुन 1446-1466 ई0
➢ विरूपाझ-II 1466-1485 ई0
- वीर नरसिंह ने तुलुव वंश (1505-1565) की स्थापना की ।
- तुलुव वंश का महान शासक कृष्णदेव राय था। वह 8 अगस्त, 1509 को शासक बना।
- कृष्णदेव राय का योग्यमंत्री एंव सेनापति सालुव तिमा था।
- कृष्णदेवराय के शासनकाल में पुर्तगाल यात्री डोमिगोस पायस विजयनगर आया था।
- बाबर ने अपनी आत्मकथा 'बाबरनामा' में कृष्णदेवराय को भारत का सर्वाधिक शक्तिशाली शासक बताया।
- कृष्णदेवराय के शासनकाल को तेलुगु साहित्य का 'क्लासिक युग' कहा गया है।
- कृष्णदेवराय ने नागलपुर नामक नए नगर , हमारा एवं विट्ठलस्वामी मंदिर का निर्माण करवाया था।
- कृष्णदेवराय ने आन्ध्रभोज, अभिनव भोज, आन्ध्र पितामह आदि उपाधि धारण की थी।
- कृष्णदेव राय की म्रत्यु 1529 ई0 में हो गयी।
- तुलुव वंश का अंतिम शासक सदाशिव था।
- तालिकोटा का युद्ध 25 जनवरी,1565 ई0 में हुआ । इसी युद्ध के कारण विजयनगर का पतन हुआ।
- तालिकोटा युद्ध में विजयनगर का नेतृत्व राम राय कर रहा था।
- तालिकोटा के युद्ध के बाद सदाशिव ने तिरुमल के सहयोग से पेनूकोंडा को राजधानी बनाकर शासन प्रारंभ किया।
- विजयनगर के चौथे राजवंश अरावीडु वंश (1570-1650 ई0) की स्थापना तिरुमल ने सदाशिव को अपदस्थ कर पेनूकोंडा में किया।
- अरावीडु शासक वेंकट-II के शासनकाल में ही वोडेयार ने 1612 ई0 में मैसूर राज्य की स्थापना की थी।
- अरावीडु वंश का अंतिम शासक रंग-III था।
No comments:
Post a Comment